कहानी एक लाख के इनामी बदमाश बदन सिंह बद्दो की है, जो एक दशक से पुलिस की पहुंच से दूर था। हाथ लगा तो कहानी कुछ इस तरह से सामने आई। टॉप अपराधी के साथ पुलिस की मुठभेड तक नहीं। मुठभेड़ नहीं हुई तो बरामदगी कैसे हो सकती थी। मामूली मामले में तो पुलिस फर्जी मुठभेड़ दर्शाती है, मगर बदन सिंह बद्दो को लेकर एसटीएफ व मेरठ पुलिस कुछ खास मेहरबान दिखी। कहां सेटिंग चली? किसने मध्यस्ता की? इसका खुलासा सिलसिलेवार किया जा रहा है। सूत्र बताते है कि द्वारिका स्थित एक फ्लेट में सेटिंग चली, जहां चला एक लाख के इनामी बदमाश बदन सिंह बद्दो के समर्पण का खेल। इस पूरे खेल में कन्नौज के विधायक अरविन्द यादव ने अहम भूमिका निभाई। एक घंटा एसटीएफ की टीम बदन सिंह के फ्लेट में रही। दिल्ली से वातानुकूलित कार में बद्दो को मेरठ तक एसटीएफ की टीम लेकर पहुंची तथा इसके बाद ही पुलिस के सुपुर्द किया। एसटीएफ की टीम जिस समय बदन सिंह को मेरठ लेकर पहुंची तो वह शूट-बूट में था। कपड़ों पर धूल तक नहीं थी। पैरों में पेरिस से खरीदे गए जूते पहने हुए था। बड़ा सवाल यह है कि बदन सिंह बद्दो के फ्लेट में एसटीएफ टीम थी, तब बद्दो नहाया, फिर कपड़े पहने। ख